Centre News Express (Desraj)
ईरान ने इजरायल पर हमला कर एक नए युद्ध की शुरुआत कर दी है। एक अप्रैल को सीरिया में ईरानी वाणिज्य दूतावास पर हमला हुआ था, जिसमें कई ईरानी मिलिट्री कमांडर मारे गए थे। ईरान के मुताबिक यह हमला इजरायल ने किया था। वहीं इजरायल हमले से इनकार करता रहा है। दोनों देश दशकों से प्रतिद्वंद्वी रहे हैं। हमास और हिजबुल्लाह जैसे आतंकी संगठनों को वह समर्थन देता है, जो इजरायल पर हमला करते हैं। ईरान के हमले के बाद अमेरिका अपने ज्यादा से ज्यादा सैनिक उतार रहा है। इसके अलावा इजरायल भी पलटवार कर सकता है। अगर यह युद्ध बढ़ता है तो खाड़ी क्षेत्र और भारत के लिए अच्छा नहीं होने वाला। भारत ने हमले पर चिंता जताई है।
भारत ने रविवार को कहा कि वह इजराइल और ईरान के बीच बढ़ते संघर्ष को लेकर अत्यंत चिंतित है। विदेश मंत्रालय ने कहा, ‘हम इजराइल और ईरान के बीच बढ़ती शत्रुता से गंभीर रूप से चिंतित हैं। इससे क्षेत्र में शांति और सुरक्षा को खतरा है।’ मंत्रालय की ओर से जारी एक बयान में कहा गया, ‘हम तनाव को तत्काल कम किये जाने, संयम बरतने, हिंसा से परहेज किये जाने और कूटनीति के रास्ते पर लौटने का आग्रह करते हैं।’विदेश मंत्रालय ने कहा कि भारत हालात पर करीब से नजर रखे हुए है। मंत्रालय ने कहा, ‘क्षेत्र में हमारे दूतावास भारतीय समुदाय के साथ संपर्क में हैं। यह जरूरी है कि क्षेत्र में सुरक्षा और स्थिरता बनी रहे।’
इजरायल और ईरान के बीच शुरू हुए इस संघर्ष के कारण हजारों भारतीयों पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं। इजरायल में भारतीय दूतावास ने एडवायजरी जारी की है। इसमें कहा गया, ‘क्षेत्र में हाल ही में हुई घटनाओं को देखते हुए इजरायल में रहने वाले सभी भारतीय नागरिकों को शांत रहने और इजरायली अधिकारियों की ओर से जारी किए जाने वाले प्रोटोकॉल का पालन करें। दूतावास सभी नागरिकों के संपर्क में है।’ रिपोर्ट्स के मुताबिक इजरायल में 18 हजार भारतीय हैं। वहीं ईरान में 4 हजार भारतीय रहते हैं। ऐसे में इस संघर्ष के कारण 22 हजार भारतीय फंसे हैं।
ईरान के हमले को असफल मान रहा अमेरिका
इस हमले के कारण दुनिया ‘तीसरे विश्वयुद्ध’ को लेकर डरी हुई है। रूस-यूक्रेन का युद्ध पहले से ही चल रहा है। इसके बाद इजरायल और हमास का संघर्ष शुरू हो गया। ऐसे में अगर एक और युद्ध शुरू होता है, तो दुनिया पर इसका खतरनाक असर पड़ेगा। हमले के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडेन ने इजरायली पीएम नेतन्याहू से फोन पर बात की। बाइडेन ने बातचीत में कहा कि आज की रात इजरायल को जीत मानना चाहिए। क्योंकि वर्तमान अमेरिकी आकलन यह है कि ईरान का हमला काफी हद तक असफल रहा और इजरायल के डिफेंस सिस्टम कारगर साबित हुए।